हे मालिक दे ऐसी शक्ति...
हे मालिक दे ऐसी शक्ति जिससे में सत्कार्य करू !
जब तक रहे प्राण देह में ओरों का उपकार करू !
बना शांत मुझे शांति-दूत तू , ना जीवन में अहिंकार करू !
पशु पक्षी और मानव से, सहिर्दय से में प्यार करू !
पशु पक्षी और मानव से, सहिर्दय से में प्यार करू !
पढ़ा पाठ मुझे नीति का , हर जीव-जंतु से न्याय करू !
मानवता दे मुझको ऐसी , सबसे सरल सत्य व्यव्हार करू !
हे मालिक दे ऐसी शक्ति जिससे में सत्कार्य करू !
जब तक रहे प्राण देह में ओरो का उपकार करू !
रहे वाक्य सत्य परिपूर्ण , न दुर्बल पे अत्याचार करू !
रहू धर्म के साथ हमेसा, ना निर्दोषों पर बार करू !
बनू प्राण सा प्रिये हर जन का , ना वृद्धजन का अपमान करू !
भले आए दुःख जीवन में , सदा होठों पर मुस्कान रखु !
वाहे खून हेतु मातभूमि के , जीवन इसके नाम करू !\
जियूं शान शौकत से जीवन, और वीरो जैसी शान मरू !
हे मालिक दे ऐसी शक्ति जिससे में सत्कार्य करू !
जब तक रहे प्राण देह में ओरो का उपकार करू !
- नरेन्द्र सिंह लोधी
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